India News MP (इंडिया न्यूज), MP News: उज्जैन में श्री महाकालेश्वर मंदिर में दर्शन करने आने वाले श्रद्धालुओं के लिए कई नियम बनाए गए हैं, लेकिन होली पर आगजनी की घटना के बाद सभी नियमों पर अमल शुरू हो गया है। दर्शन व्यवस्था में बड़े बदलाव के बाद श्री महाकालेश्वर मंदिर में रील बनाने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। मंदिर में रील न बनाने को लेकर पहले भी नियम थे, लेकिन इसका ठीक से पालन नहीं किया जाता था। यही कारण है कि कई बार भक्तों द्वारा अश्लील गानों पर बनाई गई रीलों के कारण मंदिर में बड़ा हंगामा खड़ा हो गया। कुछ जिम्मेदारों पर कार्रवाई होने के बाद मंदिर में फिर से रीलें बनाई जाने लगीं। श्री महाकालेश्वर प्रबंध समिति इस बार नियमों का पालन कराने को लेकर काफी सख्त नजर आ रही है।
श्री महाकालेश्वर प्रबंध समिति प्रशासक मृणाल मीना ने बताया कि भक्तों को बाबा महाकाल के दर्शन में कोई परेशानी न हो, इसके लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। हम चाहते हैं कि जो भी भक्त बाबा महाकाल के दर्शन करने आएं, वे श्रद्धा भाव से बाबा महाकाल के दर्शन करें। यहां उन्हें फोटो खींचने या रील बनाने जैसा कोई काम नहीं करना चाहिए।
उन्होंने यह भी कहा कि महाकाल मंदिर में रील बनाने पर प्रतिबंध कोई नया नियम नहीं है। यह नियम पहले भी लागू किया जा चुका है, लेकिन यह तय है कि इस बार इसका सख्ती से पालन जरूर किया जाएगा। भक्तों को मंदिर परिसर में तस्वीरें लेने और रील बनाने की सख्त मनाही है। अगर वे फिर भी नहीं माने और सुरक्षाकर्मियों के साथ किसी भी तरह का दुर्व्यवहार किया तो उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने तक की कार्रवाई की जाएगी।
एडिशनल एसपी जंयत राठौड़ ने बताया कि 2 दिन पहले श्री महाकालेश्वर मंदिर के सुरक्षाकर्मी शिवानी पुष्पद, संध्या प्रजापति, संगीता चंगसिया ने 4-5 महिला श्रद्धालुओं और लड़कियों को मंदिर परिसर के प्रतिबंधित क्षेत्र में वीडियो रील बनाने से मना किया था। इसके चलते महिला श्रद्धालुओं और लड़कियों ने सुरक्षाकर्मियों को समझने की बजाय उनसे बदसलूकी शुरू कर दी। मामला इतना बढ़ गया कि इन महिलाओं और लड़कियों ने सुरक्षाकर्मियों के साथ मारपीट भी की. इसका सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया था।
सुरक्षा गार्ड शिवानी पुष्पद की शिकायत पर आरोपी पलक चौहान, परी चौहान और अन्य के खिलाफ महाकाल थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 323, 294, 506 और 34 के तहत आपराधिक मामला दर्ज किया गया था।
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