इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन यानी ईवीएम में उम्मीदवारों की किस्मत छिपी होती है और भारतीय चुनावों में ईवीएम की अहम भूमिका होती है
लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि एक छोटी सी दिखने वाली मशीन ईवीएम कैसे चुनावों का नतीजा तय करती है और ईवीएम पर वोटों की गिनती कैसे होती है?
चुनाव के बाद ईवीएम को सबसे पहले सुरक्षित मतगणना केंद्र ले जाया जाता है, जहां उसे एक स्ट्रांग रूम में रखा जाता है, जहां केवल चुनाव अधिकारी ही पहुंच सकते हैं
फिर मतगणना वाले दिन पार्टियों के प्रतिनिधियों की मौजूदगी में ईवीएम मशीन पर लगी सील को तोड़ा जाता है और मतगणना शुरू होती है
इसके बाद ईवीएम यूनिट को एक्टिवेट किया जाता है और फिर रिजल्ट बटन पर क्लिक करने पर सभी उम्मीदवारों को मिले वोट दिखने लगते हैं
यह रिजल्ट मतगणना अधिकारी और प्रतिनिधियों द्वारा मैन्युअली रिकॉर्ड किया जाता है
कंट्रोल यूनिट पर एक टोटल बटन का ऑप्शन भी होता है, जिस पर क्लिक करने पर पता चलता है कि किस उम्मीदवार को कुल कितने वोट मिले हैं