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आंध्र प्रदेश के स्वतंत्रता सेनानी पिंगली वेंकैया ने भारतीय तिरंगे की डिजाइन की थी।
ये तिरंगा आजादी के 26 साल पहले साल 1921 में बन गया था।
5 साल तक पिंगली वेंकैया ने 30 से ज्यादा देशो के झंडों को देखा और फिर रिसर्च किया।
उस समय पिंगली वेंकैया ने केसरिया की जगह लाल रंग लगाया था।
वेंकैया ने कहा था सफेद रंग दूसरे धर्मों, हरा रंग मुसलमानों और लाल रंग हिंदु धर्मों का प्रतीक होगा।
इसके बाद महात्मा गाँधी ने वेंकैया को तिरंगे के बीच में अशोक चक्र रखने की सलाह दी।
उन्होंने कहा था ये भारत की एकता का प्रतीक है। इसके बाद लाल की जगह केसरिया रंग लगाया गया।
जो देश की ताकत और साहस का एक प्रतीक बना, हरा रंग भूमि और सफेद रंग सत्य और शांति का प्रतीक बना।