Ramcharitmanas Controversy: राजनीति पार्टियों में मानो तो एक घमासान सा मचा हुआ है। जहां, हर पार्टी वार- पलटवार का खेल, खेल रही है। दरअसल कुछ दिनों से स्वामी प्रसाद मौर्य अपने विवादित बयानों के कारण विपक्ष के तंज का केंद्र बिंदू बने हुए है। जिस पर अब बागेश्वर धाम के धीरेंद्र शास्त्री ने भी अपनी प्रतिक्रिया दे दी है।
उनकी रामचरितमानस पर दिए गए विवादित बयान पर पहले बीजेपी विपक्ष दलों ने सपा पर जमकर टिप्पणी कि थी। तो अब एसे में हि बागेश्वर धाम के धीरेंद्र शास्त्री ने भी अपना तीखा बयान दें दिया है।
रामचरितमानस पर दिए गए विवादित बयानों के बाद अब धीरेंद्र शास्त्री ने रामचरितमानस की प्रतियां जलाने पर बोले, “ये घोर निंदनीय है”। बहुत ही निंदनीय कृत्य है। उनका ये मानाना है कि इसके पीछे लंबी साजिश है। जिस कि तथाकथित लोगों के के माध्यम से की गई है। फिर आगे उन्होनें ये भी बोला, आपके विचारिक भेद हैं तो ठीक है आप अपनी बात बोल सकते हैं। पर किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाने का अधिकार आपको नहीं है।
आगे धीरेंद्र शास्त्री ने ये भी बोला, “आज तक के इतिहास में हमने कभी किसी के खिलाफ नहीं बोला, और ना हि हम कभी अपने धर्म के पक्ष में कुछ बोल सकते है। लेकिन इसको बोलने और देखने वाले घोर निंदा के पात्र हैं। इसलिए हमने प्रतेक सनातनी से प्रार्थना की कि इनको मजा चखाया जाए।” उन्होंने रामचरितमानस को राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित करने की मांग की और कहा, “अगर राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित होगा तो रामराज्य आएगा।”
उन्होंने आगे कहा, “रामराज्य आएगा तो प्रजा प्रसन्न होगी। अगर प्रजा प्रसन्न होगी तो भारत विश्व गुरु बनेगा। बार-बार जो विश्व गुरु की बात आती है वो तभी संभव होगा जब यहां राम राज्य की परिकल्पना होगी। अगर संत और महात्मा चाहते हैं तो सरकार को रामचरितमानस को राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित करना चाहिए, मैं भारतीय नागरिक होने के नाते ये मांग करता हूं। जो वामपंथी हैं, जो सनातन विरोधी हैं, जिनको भगवान राम से दिक्कत है वो सब इसमें मिलने हुए हैं।
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